बिहार विधानसभा चुनाव के बीच मोकामा से जेडीयू प्रत्याशी और पूर्व विधायक अनंत सिंह को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। यह गिरफ्तारी दुलारचंद यादव हत्याकांड के मामले में हुई है। अनंत सिंह की गिरफ्तारी को राज्य करने वाली जेडीयू-एनडीए गठबंधन के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है, क्योंकि वे इस बार गठबंधन समर्थित प्रत्याशी के रूप में चुनाव मैदान में थे।
क्या है मामला?
पिछले गुरुवार को मोकामा टाल इलाके में जन सुराज पार्टी के प्रत्याशी पियूष प्रियदर्शी के प्रचार के दौरान यह घटना हुई थी। प्रचार के दौरान पियूष प्रियदर्शी के काफिले का सामना जेडीयू प्रत्याशी अनंत सिंह के काफिले से हो गया। दोनों पक्षों के समर्थकों में पहले कहासुनी हुई और फिर पथराव शुरू हो गया।
इसी दौरान आरोप है कि अनंत सिंह और उनके समर्थकों ने दुलारचंद यादव को पहले गोली मारी और फिर वाहन से कुचल दिया। घायल दुलारचंद को अस्पताल ले जाया गया, जहां उनकी मौत हो गई।
प्राथमिकी में अनंत सिंह का नाम
दुलारचंद यादव के पोते की ओर से दर्ज कराई गई प्राथमिकी में अनंत सिंह सहित कई लोगों के नाम शामिल हैं। इस घटना के बाद से मोकामा क्षेत्र में तनाव का माहौल बना हुआ है। पुलिस ने दोनों पक्षों की ओर से मारपीट और पथराव के आरोपों में भी अलग-अलग मामले दर्ज किए हैं।
चुनाव आयोग के निर्देश पर गिरफ्तारी
एफआईआर में नाम आने और मौके पर मौजूदगी की पुष्टि के बाद, भारत निर्वाचन आयोग के निर्देश पर गुरुवार-शुक्रवार की मध्यरात्रि को अनंत सिंह को पटना जिले के बाढ़ के कारगिल मार्केट से गिरफ्तार किया गया। इस दौरान पटना एसएसपी कार्तिकेय शर्मा भी पुलिस टीम के साथ मौजूद थे।
तनाव बढ़ने की आशंका
गुरुवार से ही मोकामा और आसपास के इलाकों में तनाव बना हुआ है। शुक्रवार को दुलारचंद यादव के अंतिम संस्कार के दौरान भी दोनों पक्षों में झड़प हुई थी। अनंत सिंह की गिरफ्तारी की मांग लगातार बढ़ रही थी। गिरफ्तारी के बाद सुरक्षा व्यवस्था को देखते हुए इलाके में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात कर दिया गया है।
पुलिस की ताबड़तोड़ कार्रवाई
अनंत सिंह को गिरफ्तार करने के बाद पुलिस ने उन्हें पटना एसएसपी ऑफिस के DIU सेल में रखा है। पुलिस की कई टीमें देर रात तक छापेमारी करती रहीं और अब तक 80 से अधिक लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा चुकी है। शनिवार को अनंत सिंह समेत अन्य तीन आरोपियों को कोर्ट में पेश किया जाएगा।
मुख्य आरोपी और जांच की स्थिति
दुलारचंद यादव के परिजनों ने एफआईआर में कर्मवीर, राजवीर और छोटन सिंह को मुख्य आरोपी बताया है। इनकी तलाश में मोकामा, पंडारक और आसपास के क्षेत्रों में सर्च ऑपरेशन चलाया जा रहा है। पुलिस ने हिंसा के दौरान बने वीडियो फुटेज की भी जांच शुरू की है और कई संदिग्धों की पहचान की गई है।
राजनीतिक सरगर्मी तेज
यह पूरा मामला बिहार विधानसभा चुनाव के बीच सामने आने से सियासी रूप से बेहद संवेदनशील बन गया है। विपक्ष ने अनंत सिंह की गिरफ्तारी को लेकर जेडीयू और प्रशासन पर सवाल उठाए हैं, वहीं जेडीयू का कहना है कि कानून अपना काम कर रहा है।
- YUKTI RAI

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